[MISSION 2023] सिक्योर : दैनिक सिविल सेवा मुख्य परीक्षा उत्तर लेखन अभ्यास: 15 जून 2022

 

How to Follow Secure Initiative?

How to Self-evaluate your answer? 

MISSION – 2022: YEARLONG TIMETABLE

 


सामान्य अध्ययन– I


 

विषय: भारतीय संस्कृति में प्राचीन काल से आधुनिक काल तक के कला के रूप, साहित्य और वास्तुकला के मुख्य पहलू शामिल होंगे।

  1. पूर्व-इतिहास का अध्ययन करने का क्या महत्व है? भारत में पाषाण युग के सांस्कृतिक पहलुओं के बारे में हमारे पास क्या जानकारी उपलब्ध है? (250 शब्द) 

प्रश्न का स्तर: सरल

सन्दर्भ:  Insights on India

उत्तर की संरचना: 

परिचय:

भारत में पूर्व-ऐतिहासिक काल एवं इसके विभिन्न उप-वर्गीकरणों की एक संक्षिप्त समयावधि प्रस्तुत करते हुए उत्तर प्रारंभ कीजिए।

विषय वस्तु:

पूर्व-इतिहास के अध्ययन के महत्व का वर्णन कीजिए।

उपर्युक्त के उदाहरण उद्धृत कीजिए।

पाषाण युग के सांस्कृतिक पहलुओं का वर्णन कीजिए। 

निष्कर्ष:

उपर्युक्त का संक्षेपण करते हुए निष्कर्ष निकालिए।

 

विषय: जनसँख्या एवं संबंधित मुद्दे। 

  1. भारत में वृद्धजनों की जनसँख्या में सतत वृद्धि अनेक सामाजिक-आर्थिक चुनौतियाँ प्रस्तुत करती है। हमें नवीन जनसाँख्यिकीय वास्तविकता के दायरे को शीघ्रता से पहचानना चाहिए एवं तदनुसार वर्तमान नीतियों को समायोजित करना चाहिए। चर्चा कीजिए। (250 शब्द)

 प्रश्न का स्तर: मध्यम

सन्दर्भ: The Hindu , insights on India 

निर्देशक शब्द: 

चर्चा कीजिए- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के विभिन्न पहलुओं को ध्यान में रखते हुए तथ्यों के साथ उत्तर लिखें। 

उत्तर की संरचना: 

परिचय:

भारत में वृद्ध जनसँख्या के संबंध में आंकड़े प्रस्तुत करते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए। 

विषय वस्तु:

वृद्ध जनसँख्या से संबंधित विभिन्न मुद्दों का उल्लेख कीजिए।

वरिष्ठ नागरिकों के कल्याण के लिए अब तक निर्मित की गई विभिन्न नीतियों एवं उनकी सीमाओं का उल्लेख कीजिए।

उपर्युक्त नीतियों में आवश्यक परिवर्तनों का वर्णन कीजिए।

निष्कर्ष:

आगे की राह बताते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए। 

 


सामान्य अध्ययन– II


 

विषय: संसद और राज्य विधायिका- संरचना, कार्य, कार्य-संचालन, शक्तियाँ एवं विशेषाधिकार और इनसे उत्पन्न होने वाले विषय। 

  1. हाल के दिनों में विभिन्न विचारधाराओं एवं एक आवेशित राजनीतिक वातावरण वाले अनेक राजनीतिक दलों को देखते हुए भारतीय संविधान के तहत राज्यपाल की नियुक्ति, शक्तियों एवं कार्यों पर पुनर्विचार करना समय की आवश्यकता है। परीक्षण कीजिए। (250 शब्द) 

प्रश्न का स्तर: सरल             

सन्दर्भ: Indian Express , Insights on India

 निर्देशक शब्द: 

परीक्षण कीजिए- ऐसे प्रश्नों का उत्तर देते समय उस कथन अथवा विषय के पक्ष और विपक्ष दोनों का परीक्षण करते हुए सारगर्भित उत्तर लिखना चाहिए। 

उत्तर की संरचना: 

परिचय:

राज्य की विधायी प्रक्रिया में राज्यपाल की भूमिका का उल्लेख करते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए। 

विषय वस्तु:

राज्यपाल के पद के बढ़ते राजनीतिकरण एवं उसके ‘केंद्र के एजेंट’ के रूप में कार्य करने तथा इस पर राज्य सरकार की विभिन्न प्रतिक्रियाओं का उल्लेख कीजिए।

तमिलनाडु, महाराष्ट्र एवं पश्चिम बंगाल के हाल के उदाहरणों का उल्लेख कीजिए।

राज्यपाल की नियुक्ति एवं शक्तियों के साथ-साथ राज्य कार्यपालिका की शक्तियों में आवश्यक पुनर्विचार का वर्णन कीजिए।

विभिन्न समितियों की अनुशंषाओं पर प्रकाश डालते हुए उपर्युक्त की पुष्टि कीजिए।

निष्कर्ष:

विधायिका एवं राज्यपाल के मध्य के संघर्ष को सुलझाने के लिए आगे की राह बताते हुए निष्कर्ष निकालिए।

 

विषय: गरीबी एवं भूख से संबंधित मुद्दे।

  1. कुपोषण विभिन्न कारकों के मध्य परस्पर जटिल क्रिया के परिणामस्वरूप उत्पन्न होता है। हालांकि, सरल लेकिन व्यावहारिक एवं अभिनव समाधान कुपोषण तथा एनीमिया को समाप्त करने में योगदान दे सकते हैं। विस्तार से समझाइए। (250 शब्द) 

प्रश्न का स्तर: मध्यम 

सन्दर्भ: The Hindu

निर्देशक शब्द: 

समझाइए- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय प्रश्न से संबंधित सूचना अथवा जानकारी को सरल भाषा में प्रस्तुत कीजिए। 

उत्तर की संरचना: 

परिचय:

भारत में कुपोषण की स्थिति से संबंधित आँकड़े प्रस्तुत करते हुए उत्तर की शुरुआत कीजिए। 

विषय वस्तु:

कुपोषण के विभिन्न कारणों का वर्णन कीजिए।

इसके प्रभावों का संक्षेप में उल्लेख कीजिए।

इससे निपटने के लिए आवश्यक सरल एवं नवीन समाधानों का वर्णन कीजिए।

निष्कर्ष:आगे की राह बताते हुए निष्कर्ष निकालिए।

 


सामान्य अध्ययन– III


 

विषय: प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष कृषि सब्सिडी एवं न्यूनतम समर्थन मूल्य से संबंधित मुद्दे।

  1. न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) सुरक्षा जाल के रूप में कार्य करते हैं। फिर भी, वे किसानों की आय सुरक्षा के उद्देश्य के रूप में साधन नहीं बन पा रहे हैं। विश्लेषण कीजिए। (250 शब्द) 

प्रश्न का स्तर: मध्यम 

सन्दर्भ: Live Mint

निर्देशक शब्द: 

विश्लेषण कीजिएऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के बहुआयामी सन्दर्भों जैसे क्या, क्यों, कैसे आदि पर ध्यान देते हुए उत्तर लेखन कीजिए। 

उत्तर की संरचना: 

परिचय:

न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की अवधारणा को परिभाषित करते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए। 

विषय वस्तु:

न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) के विभिन्न उद्देश्यों का वर्णन कीजिए।

न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) अपने घोषित उद्देश्यों को प्राप्त क्यों नहीं कर पाया है? सम्बंधित कारणों का वर्णन कीजिए।

इस दिशा में सरकार के प्रयासों पर प्रकाश डालिए।

निष्कर्ष:

आगे की राह बताते हुए निष्कर्ष निकालिए।

                              

विषय: विभिन्न सुरक्षा बल एवं एजेंसियाँ तथा उनका जनादेश।

  1. सैनिकों की भर्ती के लिए अग्निपथ योजना की विशेषताओं का वर्णन कीजिए। योजना से सम्बंधित विभिन्न लाभों एवं जोखिमों का मूल्यांकन कीजिए। (250 शब्द)

 प्रश्न का स्तर: मध्यम

सन्दर्भ: Indian Express , Indian Express

 निर्देशक शब्द: 

वर्णन कीजिए- ऐसे प्रश्नों में अभ्यर्थी से अपेक्षा की जाती है कि वह पूछे गए प्रश्न से संबंधित जानकारियों को सरल भाषा में व्यक्त कर दे। 

मूल्यांकन कीजिए- ऐसे प्रश्नों में अभ्यर्थी से अपेक्षा की जाती है की वह कथन अथवा विषय के महत्व को रेखांकित करते हुए उसकी समग्र उपयोगिता बताये।

उत्तर की संरचना: 

परिचय:

सैनिकों की भर्ती के लिए अग्निपथ योजना के लक्ष्य एवं उद्देश्यों का वर्णन करते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए। 

विषय वस्तु:

योजना की प्रमुख विशेषताओं पर चर्चा कीजिए।

योजना से होने वाले प्रमुख लाभों का उल्लेख कीजिए।

लघु अवधि एवं दीर्घावधि में योजना से सम्बंधित विभिन्न चिंताओं का वर्णन कीजिए। 

निष्कर्ष:

इन कमियों को दूर करने के लिए आगे की राह बताते हुए निष्कर्ष निकालिए। 

 


सामान्य अध्ययन– IV


 

विषय: मानवीय मूल्य- महान नेताओं, सुधारकों और प्रशासकों के जीवन तथा उनके उपदेशों से शिक्षा। 

  1. निम्नलिखित उद्धरण से आपका क्या तात्पर्य है? (150 शब्द) 

“नैतिक रोष ईर्ष्या का एक रूप है।” एच.जी. वेल्स 

प्रश्न का स्तर: कठिन

 उत्तर की संरचना: 

परिचय:

उद्धरण के शाब्दिक अर्थ की व्याख्या करते हुए उत्तर की शुरूआत कीजिए। 

विषय वस्तु:

नैतिक रोष की व्याख्या कीजिए एवं उदाहरणों के साथ इसकी पुष्टि कीजिए।

ईर्ष्या के साथ नैतिक रोष के संबंध पर चर्चा कीजिए।

उपर्युक्त को सोदाहरण सिद्ध कीजिए।

निष्कर्ष:

वर्तमान समय में उद्धरण के महत्व पर प्रकाश डालते हुए निष्कर्ष निकालिए।