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[इनसाइट्स सिक्योर – 2020] दैनिक सिविल सेवा मुख्य परीक्षा उत्तर लेखन अभ्यास: 9 अक्टूबर 2020

 

How to Follow Secure Initiative?

How to Self-evaluate your answer? 

INSIGHTS NEW SECURE – 2020: YEARLONG TIMETABLE

 


सामान्य अध्ययन – 2


 

विषय: कार्यपालिका और न्यायपालिका की संरचना, संगठन और कार्य- सरकार के मंत्रालय एवं विभाग, प्रभावक समूह और औपचारिक/अनौपचारिक संघ तथा शासन प्रणाली में उनकी भूमिका।

1. क्या आपको लगता है कि न्यायिक सक्रियता संसद की शक्तियों पर नियंत्रण रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है? आलोचनात्मक परीक्षण कीजिए। (250 शब्द)

सन्दर्भ: भारतीय राजव्यवस्था: एम. लक्ष्मीकांत

 निर्देशक शब्द:

 आलोचनात्मक परीक्षण कीजिये- ऐसे प्रश्नों का उत्तर देते समय उस कथन अथवा विषय के पक्ष और विपक्ष दोनों में ही तथ्यों को बताते हुए अंत में एक सारगर्भित निष्कर्ष निकालना चाहिए।

उत्तर की संरचना:

 परिचय:

 सर्वप्रथम न्यायिक सक्रियता को परिभाषित कीजिए।

विषय वस्तु:

न्यायिक सक्रियता एवं न्यायिक अतिरेक के मध्य अंतर स्पष्ट कीजिए।

उपयुक्त उदाहरणों के साथ न्यायिक सक्रियता के माध्यम से भारतीय न्यायपालिका द्वारा निभाई गई भूमिका पर चर्चा कीजिए।

समझाइए कि यह संसद की शक्तियों पर नियंत्रण कैसे स्थापित करता है।

 निष्कर्ष:

इसके महत्व पर प्रकाश डालते हुए निष्कर्ष निकालिए।

  

विषय: भारतीय संविधान- ऐतिहासिक आधार, विकास, विशेषताएँ, संशोधन, महत्त्वपूर्ण प्रावधान और बुनियादी संरचना।

2. लोकतंत्र में किसी कानून के खिलाफ शांतिपूर्वक विरोध प्रदर्शन के अधिकार का समर्थन करते हुए असंतोष के प्रति सहनशीलता की सीमा का निर्धारण करना महत्वपूर्ण होता है। टिप्पणी कीजिए। (250 शब्द)

सन्दर्भ: Indian Express

निर्देशक शब्द:

 टिप्पणी कीजिये ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय पर अपने ज्ञान और समझ को बताते हुए एक समग्र राय विकसित करनी चाहिए।

उत्तर की संरचना:

 परिचय:

 प्रश्न के संदर्भ को संक्षेप में समझाइए।

 विषय वस्तु:

सर्वोच्च न्यायालय द्वारा हाल ही में दिए गए फैसले के अलोक में समझाइए कि लोकतंत्र में किसी कानून के खिलाफ शांतिपूर्वक विरोध प्रदर्शन करने के अधिकार का समर्थन करते हुए असंतोष के प्रति सहनशीलता के लिए सीमाएं निर्धारित करना महत्वपूर्ण क्यों है।

संबंधित तथ्यों पर विस्तार से चर्चा कीजिए; शीर्ष अदालत के निर्णय के प्रमुख अंश प्रस्तुत कीजिए।

निष्कर्ष:

आगे की राह बताते हुए एवं लोकतंत्र में असंतोष के प्रति सहनशीलता की सीमा का सम्मान करने की आवश्यकता पर बल देते हुए निष्कर्ष निकालिए।

  

विषय: सरकारी नीतियों और विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिये हस्तक्षेप और उनके अभिकल्पन तथा कार्यान्वयन के कारण उत्पन्न विषय।

3. गैस आधारित अर्थव्यवस्था की ओर अग्रसर होने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम के रूप में प्राकृतिक गैस विपणन सुधार कैसे सहायक सिद्ध होंगे? समझाइए। (250 शब्द)

सन्दर्भ: pib.gov.in

 निर्देशक शब्द:

 समझाइये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय प्रश्न से संबंधित सूचना अथवा जानकारी को सरल भाषा में प्रस्तुत कीजिये।

 उत्तर की संरचना:

 परिचय:

प्राकृतिक गैस विपणन सुधार पहल पर चर्चा करते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए।

 विषय वस्तु:   

इसकी प्रमुख विशेषताओं पर प्रकाश डालिए। 

समझाइये कि यह पहल गैस आधारित अर्थव्यवस्था की ओर अग्रसर होने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम कैसे सिद्ध होगी।

ऐसे सुधारों के लाभों को सूचीबद्ध कीजिए।

निष्कर्ष:

निष्कर्ष निकालिए कि इस प्रकार के सुधार दीर्घकाल में घरेलू उत्पादन की धारणीयता को सुनिश्चित करेंगे।

  

विषय: सरकारी नीतियों और विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिये हस्तक्षेप और उनके अभिकल्पन तथा कार्यान्वयन के कारण उत्पन्न विषय।

4. आत्मनिर्भर भारत पहल की सफलता कौशल भारत पर निर्भर करती है। विश्लेषण कीजिए। (250 शब्द)

 सन्दर्भ:  pib.gov.in

निर्देशक शब्द:

 विश्लेषण कीजियेऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के बहुआयामी सन्दर्भों जैसे क्या, क्यों, कैसे आदि पर ध्यान देते हुए उत्तर लेखन कीजिये।

 उत्तर की संरचना:

 परिचय:

आत्मनिर्भर भारत के बारे में संक्षेप में चर्चा कीजिए।

 विषय वस्तु:

कौशल के अभाव से सम्बंधित चुनौतियों को सूचीबद्ध कीजिए।

स्किल इंडिया के साथ मेक इन इंडिया को एकीकृत करने की संभावनाओं पर चर्चा कीजिए।

कौशल प्रदान करना (Skilling), पुनः कौशल प्रदान करना (Re-Skilling), कौशल में वृद्धि करना (Up-Skilling) एवं उद्योगों से सम्बद्ध कौशल प्रदान करना (Industry Connect Skilling) आदि पर चर्चा कीजिए, इसे आत्मनिर्भर भारत से सम्बद्ध कीजिए।

निष्कर्ष:

आत्मनिर्भर भारत पहल के महत्व एवं इसे कौशल भारत के साथ एकीकृत किये जाने पर बल देते हुए निष्कर्ष निकालिए।

  

विषय: स.अ.2- सरकारी नीतियों और विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिये हस्तक्षेप और उनके अभिकल्पन तथा कार्यान्वयन के कारण उत्पन्न विषय।

स.अ.3- भारतीय अर्थव्यवस्था तथा योजना, संसाधनों को जुटाने, प्रगति, विकास तथा रोज़गार से संबंधित विषय।

 5. प्लेटफ़ॉर्म श्रमिकों को बेहतर वेतन और निश्चित अधिकार प्रदान करने में नवीन श्रमिक कोड की भूमिका अत्यंत कम है। आलोचनात्मक परीक्षण कीजिए। (250 शब्द)

सन्दर्भ: The Hindu 

 निर्देशक शब्द:

 आलोचनात्मक परीक्षण कीजिये- ऐसे प्रश्नों का उत्तर देते समय उस कथन अथवा विषय के पक्ष और विपक्ष दोनों में ही तथ्यों को बताते हुए अंत में एक सारगर्भित निष्कर्ष निकालना चाहिए।

उत्तर की संरचना:

 परिचय:

हाल ही में संसद द्वारा तीन नवीन श्रमिक कोड पारित किए गए थे। उनमें से एक सामाजिक सुरक्षा कोड विधेयक है।

 विषय वस्तु:

नवीन श्रमिक कोड में प्लेटफॉर्म श्रमिकों से सम्बंधित प्रमुख प्रावधानों पर प्रकाश डालिए।

प्लेटफ़ॉर्म श्रमिकों को बेहतर वेतन और निश्चित अधिकार प्रदान करने सम्बन्धी प्रावधानों में क्या कमियां हैं, स्पष्ट कीजिए।

संबंधित चिंताओं को प्रस्तुत कीजिए, प्रमुख मुद्दों पर प्रकाश डालिए एवं विश्लेषण कीजिए कि क्या किया जाना चाहिए।

निष्कर्ष:

आगे की राह बताते हुए निष्कर्ष निकालिए।

 


सामान्य अध्ययन – 3


 

विषय: आपदा एवं आपदा प्रबंधन।

 6. भारत में वर्तमान बाढ़ पूर्वानुमान प्रणाली एवं उसकी कमियों का विश्लेषण कीजिए एवं इसमें सुधार करने हेतु उचित उपाय भी सुझाइये। (250 शब्द)

सन्दर्भ:  The Hindu  

 निर्देशक शब्द:

 विश्लेषण कीजियेऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के बहुआयामी सन्दर्भों जैसे क्या, क्यों, कैसे आदि पर ध्यान देते हुए उत्तर लेखन कीजिये।

 उत्तर की संरचना:

 परिचय:

भारत में वर्तमान बाढ़ पूर्वानुमान प्रणाली पर चर्चा करते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए।

विषय वस्तु:

भारत में बाढ़ का परिदृश्य प्रस्तुत कीजिए। इसके संभावित क्षेत्रों का वर्णन कीजिए।

वर्तमान बाढ़ पूर्वानुमान प्रणाली की प्रमुख कमियों पर प्रकाश डालिए।

इसके समाधान के लिए अभिनव उपाय भी बताइये। 

निष्कर्ष:

आगे की राह बताते हुए निष्कर्ष निकालिए।

 


सामान्य अध्ययन – 4


 

विषय: शासन व्यवस्था में ईमानदारीः लोक सेवा की अवधारणा; शासन व्यवस्था और ईमानदारी का दार्शनिक आधार, सरकार में सूचना का आदान-प्रदान और पारदर्शिता, सूचना का अधिकार, नीतिपरक आचार संहिता, आचरण संहिता, नागरिक घोषणा पत्र, कार्य संस्कृति, सेवा प्रदान करने की गुणवत्ता, लोक निधि का उपयोग, भ्रष्टाचार की चुनौतियाँ।

7. सत्यनिष्ठा एवं दक्षता को विशिष्ट होने की आवश्यकता नहीं है। उपयुक्त उदाहरणों के साथ समझाइए। (250 शब्द)

 सन्दर्भ: नैतिकता, सत्यनिष्ठा एवं अभिवृत्ति: लेक्सिकन प्रकाशन

 निर्देशक शब्द:

 समझाइये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय प्रश्न से संबंधित सूचना अथवा जानकारी को सरल भाषा में प्रस्तुत कीजिये।

 उत्तर की संरचना:

 परिचय:

एक कुशल एवं दक्ष शासनप्रणाली के लिए एवं सामाजिक-आर्थिक विकास के लिए शासन में सत्यनिष्ठा एक आवश्यक और महत्वपूर्ण घटक है।

 विषय वस्तु:

सत्यनिष्ठा को परिभाषित कीजिए। प्रशासन में दक्षता का क्या तात्पर्य है, समझाइए।

शासन एवं सामान्य प्रशासन में सत्यनिष्ठा और दक्षता के महत्व पर चर्चा कीजिए।

इस प्रकार के प्रश्नों को उदाहरणों के साथ समझाया जाना उचित होगा; चर्चा कीजिए कि दक्षता और सत्यनिष्ठा परस्पर कैसे संबंधित हैं। सरकारी कार्यालयों के उदाहरण प्रस्तुत कीजिए।

निष्कर्ष:

दोनों के महत्व को समझाते हुए निष्कर्ष निकालिए।


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