How to Follow Secure Initiative?
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सामान्य अध्ययन – 1
विषय: सा. अ.-1: जनसंख्या एवं संबद्ध मुद्दे, गरीबी और विकासात्मक विषय, शहरीकरण, उनकी समस्याएँ और उनके रक्षोपाय। सा. अ.-2: सरकारी नीतियों और विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिये हस्तक्षेप और उनके अभिकल्पन तथा कार्यान्वयन के कारण उत्पन्न विषय।
1. क्या शहरी भारत को स्वच्छता से जुड़ी समस्याओं से मुक्त करने के लिए शौचालय से परे ध्यान केंद्रित करना चाहिए? अपनी राय के समर्थन में तर्क प्रस्तुत कीजिए। शहरी भारत को खुले में शौच से मुक्त बनाने के उपाय भी सुझाइये। (250 शब्द)
सन्दर्भ: Hindustan Times
उत्तर की संरचना:
परिचय:
स्वच्छ भारत मिशन के संदर्भ में प्रश्न की पृष्ठभूमि को विस्तार से समझाइये।
विषय वस्तु:
स्वच्छता और संबंधित मुद्दों पर भारत के दृष्टिकोण पर चर्चा कीजिए।
केवल शौचालयों पर ध्यान केंद्रित करने से सम्बंधित समस्याओं का वर्णन कीजिए।
चर्चा कीजिए कि भारत को शौचालय से परे ध्यान केंद्रित करने की आवश्यकता क्यों है।
निष्कर्ष:
इस दिशा में सरकार द्वारा किये गए प्रयासों और आवश्यक उपायों को बताते हुए निष्कर्ष निकालिये।
सामान्य अध्ययन –2
विषय: द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक समूह और भारत से संबंधित और/अथवा भारत के हितों को प्रभावित करने वाले करार। भारत के हितों पर विकसित तथा विकासशील देशों की नीतियों तथा राजनीति का प्रभाव; प्रवासी भारतीय।
2. तुर्की और ग्रीस के कारण पूर्वी भूमध्यसागरीय क्षेत्र में उत्पन्न तनाव पर विस्तार से चर्चा कीजिए, जिसमें हाल ही में समुद्री दावों को परस्परव्यापित (Overlapping) किया गया है। (250 शब्द)
सन्दर्भ: The Hindu
निर्देशक शब्द:
चर्चा कीजिये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के विभिन्न पहलुओं को ध्यान में रखते हुए तथ्यों के साथ उत्तर लिखें।
उत्तर की संरचना:
परिचय:
संबंधित मामले की पृष्ठभूमि को संक्षेप में समझाते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए।
विषय वस्तु:
समुद्री सीमा विवाद से संबंधित अंतर्राष्ट्रीय विधियों का उल्लेख करते हुए दोनों देशों के मध्य उत्पन्न विवाद के आलोक में विवादित क्षेत्र और विवाद के कारणों को विस्तार से समझाइये।
इस दिशा में हाल के घटनाक्रमों पर विस्तार से चर्चा कीजिए।
निष्कर्ष:
इस प्रकार निष्कर्ष निकालिए कि तनाव को कम करने और गैस की प्रतिस्पर्धा के समाधान के लिए एक राजनयिक और पारस्परिक रूप से स्वीकार्य समाधान खोजने की तत्काल आवश्यकता है।
विषय: सरकारी नीतियों और विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिये हस्तक्षेप और उनके अभिकल्पन तथा कार्यान्वयन के कारण उत्पन्न विषय।
3. प्रवासियों के लिए आत्मनिर्भर भारत योजना की प्रमुख विशेषताओं और विशेष रूप से वर्तमान कोविड-19 परिस्थितियों में इसकी उपयोगिता पर चर्चा कीजिए। (250 शब्द)
सन्दर्भ: pib.gov.in
निर्देशक शब्द:
चर्चा कीजिये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के विभिन्न पहलुओं को ध्यान में रखते हुए तथ्यों के साथ उत्तर लिखें।
उत्तर की संरचना:
परिचय:
वर्तमान कोविड-19 परिस्थितियों के आलोक में प्रश्न की पृष्ठभूमि को संक्षेप में समझाइये।
विषय वस्तु:
इस योजना की प्रमुख विशेषताओं का विस्तार से वर्णन कीजिए।
आवश्यक तथ्यों का उल्लेख करते हुए समझाइये कि यह योजना वर्तमान कोविड-19 परिस्थितियों में प्रवासी श्रमिकों के लिए उपयोगी सिद्ध कैसे होगी।
निष्कर्ष:
इसप्रकार की योजनाओं की आवश्यकता, विशेष रूप से इस चुनौतीपूर्ण समय में, पर बल देते हुए निष्कर्ष निकालिए।
विषय: सा. अ.-2: सरकारी नीतियों और विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिये हस्तक्षेप और उनके अभिकल्पन तथा कार्यान्वयन के कारण उत्पन्न विषय। सा. अ.-3: मुख्य फसलें- देश के विभिन्न भागों में फसलों का पैटर्न- सिंचाई के विभिन्न प्रकार एवं सिंचाई प्रणाली- कृषि उत्पाद का भंडारण, परिवहन तथा विपणन, संबंधित विषय और बाधाएँ; किसानों की सहायता के लिये ई-प्रौद्योगिकी।
4. “आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य के लिए आत्मनिर्भर कृषि एक महत्वपूर्ण घटक है”, इस संदर्भ में भारत के कृषि निर्यात के महत्व पर चर्चा कीजिए। (250 शब्द)
सन्दर्भ: pib.gov.in
निर्देशक शब्द:
चर्चा कीजिये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के विभिन्न पहलुओं को ध्यान में रखते हुए तथ्यों के साथ उत्तर लिखें।
उत्तर की संरचना:
परिचय:
कृषि निर्यात के महत्व पर प्रकाश डालते हुए उत्तर प्रारंभ कीजिए।
विषय वस्तु:
देश में कृषि आयात से सम्बंधित कुछ महत्वपूर्ण आंकड़ों को प्रस्तुत कीजिए और आत्मनिर्भर भारत योजना के अंतर्गत कृषि क्षेत्र की आत्मनिर्भरता के महत्त्व को स्पष्ट कीजिए।
इस दिशा में सरकार द्वारा किये गए प्रयासों पर विस्तार से चर्चा कीजिए।
निष्कर्ष:
कृषि क्षेत्र में आत्मनिर्भरता के महत्व को दर्शाते हुए निष्कर्ष निकालिए।
सामान्य अध्ययन – 3
विषय: आपदा और आपदा प्रबंधन।
5. तेल रिसाव (Oil Spill) क्या है? इसके प्रभावों पर चर्चा करते हुए उन विधियों और उपायों पर प्रकाश डालिये, जिनके द्वारा तेल रिसाव को साफ किया जा सकता है। (250 शब्द)
सन्दर्भ: bbc.com
निर्देशक शब्द:
चर्चा कीजिये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय सम्बंधित विषय / मामले के विभिन्न पहलुओं को ध्यान में रखते हुए तथ्यों के साथ उत्तर लिखें।
प्रकाश डालिये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर लेखन में अभ्यर्थी से अपेक्षा की जाती है कि वह प्रश्न से सम्बंधित प्रासंगिक जानकारियों को सरल भाषा में व्यक्त कर दे।
उत्तर की संरचना:
परिचय:
तेल रिसाव से आपका क्या तात्पर्य है, समझाइए।
विषय वस्तु:
तेल रिसाव से संबंधित हाल के घटनाक्रमों का उल्लेख करते हुए इससे सम्बंधित चुनौतियों पर भी चर्चा कीजिए।
तेल रिसाव के प्रभावों को विस्तार से समझाइये।
तेल रिसाव की सफाई से सम्बंधित विधियों और प्रक्रियाओं पर विस्तार से चर्चा कीजिए।
निष्कर्ष:
आगे की राह बताते हुए निष्कर्ष निकालिए।
सामान्य अध्ययन – 4
विषय: लोक प्रशासन में लोक/सिविल सेवा मूल्य तथा नीतिशास्त्रः स्थिति तथा समस्याएँ; सरकारी तथा निजी संस्थानों में नैतिक चिंताएँ तथा दुविधाएँ; नैतिक मार्गदर्शन के स्रोतों के रूप में विधि, नियम, विनियम तथा अंतरात्मा; उत्तरदायित्व तथा नैतिक शासन, शासन व्यवस्था में नीतिपरक तथा नैतिक मूल्यों का सुदृढ़ीकरण; अंतर्राष्ट्रीय संबंधों तथा निधि व्यवस्था (फंडिंग) में नैतिक मुद्दे; कॉरपोरेट शासन व्यवस्था।
6. विंस्टन चर्चिल के अनुसार, “एक अच्छे संकट को कभी भी बर्बाद नहीं करना चाहिए”। क्या आपको लगता है कि अंतरात्मा के जीवित रहने के लिए नैतिक संकट एक आवश्यक पूर्वशर्त है? विस्तार से समझाइये। (250 शब्द)
सन्दर्भ: उद्धरण आधारित नैतिक प्रश्न।
निर्देशक शब्द:
समझाइये- ऐसे प्रश्नों के उत्तर देते समय प्रश्न से संबंधित सूचना अथवा जानकारी को सरल भाषा में प्रस्तुत कीजिये।
उत्तर की संरचना:
परिचय:
संकट से आपका क्या तात्पर्य है, समझाते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए।
विषय वस्तु:
संकट के प्रतिउत्तर में अपनाये जाने वाले दृष्टिकोणों को विस्तार से समझाइये। जैसे:
- संकट से दूर रहना और इसे एक अभिशाप समझना – जो कि एक धर्मत-संबंधी सोच है।
- विरोधी स्थापना के नाम पर संकट में अत्यधिक लिप्त हो जाना- जो घातक है।
- परिवर्तन लाने के लिए अपनी ऊर्जा का उचित उपयोग करके संकट का समाधान करना – यह एक आदर्श सोच है।
उपयुक्त विचारों के साथ उपर्युक्त को प्रस्तुत कीजिए।
निष्कर्ष:
अंतरात्मा के जीवित रहने के लिए नैतिक संकट के महत्त्व को बताते हुए निष्कर्ष निकालिये।
विषय: केस स्टडी (मामला अध्ययन) ।
7. एक महिला एक संगठन में वरिष्ठ प्रबंधक के रूप में कार्य करती है। वह कई वर्षों से संगठन के लिए काम कर रही है और अनुकरणीय समीक्षा एवं कर्मचारी-ऑफ-द-इयर ’पुरस्कार भी प्राप्त कर चुकी है। फिर भी, प्रत्येक पांच बार जब उसने पदोन्नति के लिए आवेदन किया, उसने जिन पदों के लिए आवेदन किया था, उसके स्थान पर, कम-योग्य पुरुषों को उन पदों पर नियुक्त किया गया। रिपोर्टिंग प्रबंधक से पूछताछ किये जाने पर, उसने जो कारण दिया वह यह था कि संगठन के कुछ पुराने ग्राहक पुरुषों के साथ अधिक सहज व्यवहार करते हैं, फिर भी वह कुछ अवांछित अनुग्रह के बदले में उसकी पदोन्नति पर विचार करने को तैयार था। कुछ समय पश्चात्, महिला ने अपने उचित पदोन्नति और रिपोर्टिंग प्रबंधक के खिलाफ वरिष्ठ प्रबंधक के समक्ष एक औपचारिक शिकायत दर्ज की। संगठन ने शिकायत के खिलाफ कोई कार्रवाई करने के बजाय, महिला को एक स्थानांतरण पत्र जारी कर दिया। (250 शब्द)
1. इस मामले में शामिल नैतिक मुद्दों की पहचान कीजिए।
2. महिला के समक्ष उपलब्ध विकल्प/ विकल्पों का मूल्यांकन करें।
3. बताइये की उसे कौन सा विकल्प अपनाना चाहिए और क्यों?
सन्दर्भ: केस स्टडी (मामला अध्ययन)
निर्देशक शब्द:
मूल्यांकन कीजिये- ऐसे प्रश्नों में अभ्यर्थी से अपेक्षा की जाती है की वह कथन अथवा विषय के महत्व को रेखांकित करते हुए उसकी समग्र उपयोगिता बताये।
उत्तर की संरचना:
परिचय:
लैंगिक समानता की प्रासंगिकता को व्यक्त करते हुए उत्तर प्रारम्भ कीजिए।
विषय वस्तु:
प्रश्न से संबंधित सभी नैतिक मुद्दों की पहचान कीजिए।
महिला के समक्ष उपलब्ध सभी विकल्पों का मूल्यांकन कीजिए और साथ ही प्रत्येक विकल्प का विश्लेषण भी कीजिए।
निष्कर्ष:
एक निष्पक्ष और संतुलित राय के साथ निष्कर्ष निकालिये।